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कविता

पहुँच

स्नेहमयी चौधरी


हर चीज हाथों की पहुँच के हिसाब से
अपने दोनों तरफ रखना -
यह जीवन है ?
या... ।


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हिंदी समय में स्नेहमयी चौधरी की रचनाएँ