उस दिन कौन था साक्षी ?
	चिड़िया या चैती ? सागर या सूनी रात
	फूल या फागुन, झींगुर या झाऊवन
	कौन था साक्षी उस दिन ?
	मैं किस खेत का तिनका
	तुम किस वन की लड़की
	किस स्रोत, किस नदी ने
	हमें किया था एक साथ ?
	अब कौन किधर
	जैसे भेंट हुई नहीं कभी कहीं।
	तुम्हें कहती
	कितने सुंदर दिखते सफेद धोती पहन
	लो, अगरु-चंदन, दूब, फूल
	रखे तुम्हारे पाँव के लिए सहेज रखे।
	कहती कान में, तुम्हारे लिए
	आज से अवशिष्ट रात।